14 March 2023

कुरान में ग़ैर-मुस्लिम/काफ़िर को दण्ड सूरा आयत के साथ

 

फिर, जब पवित्र महीने बीत जाऐं, तो मुशरिकों (मूर्तिपूजकों) को जहां-कहीं पाओ कत्ल करो, और पकड़ो और उन्हें घेरो और हर घात की जगह उनकी ताक में बैठो। (कुरान मजीद, सूरा 9, आयत 5)

 

जिन लोगों ने हमारी आयतोंसे का इन्कार किया (इस्लाम व कुरान को मानने से इन्कार), उन्हें हम जल्द अग्नि में झोंक देंगे। (कुरान सूरा 4, आयत 56)

 

काफिरों को जहां पाओ उनको जान से मार दो (सूरा 2, आयत 191)

 

ईमान वालों, अपने आस-पास रहने वाले काफिरों के साथ युद्ध करो। उनको तुम्हारे अन्दर कटुता दिखनी चाहिए। (सूरा 9, आयत 123)

 

अल्लाह ग़ैर-मुसलमानों का दुश्मन है। (सूरा 2, आयत 98)

 

इस्लाम को न मानने वालों का दिल अल्लाह भर देगा और ग़ैर-मुसलमानों की गर्दन काट कर, तुम्हें उनका शरीर काट देना है। (सूरा 8, आयत 12)

 

सिर्फ मुसलमानों को अपना करीबी दोस्त बनाएं। (सूरा 3, आयत 118)

गैर-मुस्लिम को दोस्त न बनाएं। (सूरा 3, आयत 28 व सूरा 9, आयत 23)

 

गैर-मुसलमानों से तब तक लड़ें जब तक अल्लाह का धर्म पूरी तरह से दुनिया में स्थापित न हो जाए। (सूरा 8, आयत 39)

 

मूर्ति पूजा करने वालों को जहां कहीं भी मिले, घात लगाकर उन्हें मार डालो। (सूरा 9, आयत 5)

 

जहां कहीं पाखंडी और मूर्तिपूजक पकड़े जाते हैं, उनकी बुरी तरह से हत्या कर दी जाएगी। (सूरा 33, आयत 61)

 

अल्लाह के सिवा किसी और की इबादत करने वाले नर्क के ईंधन हैं। (सूरा 21, आयत 98)

 

काफ़िर आपके खुले दुश्मन हैं। (सूरा 4, आयत 101)

 

काफिरों पर ज़ुल्म करो। (सूरा 9, आयत 123)

 

काफिरों को नीचा दिखाएं और उनसे लड़ें। (सूरा 9, आयत 29)

 

काफिरों के खिलाफ जिहाद करो। (सूरा 66, आयत 9)

 

लूट का सारा माल (लड़कियां व महिलाओं सहित) हलाल है। गैर मुसलमानों के लड़कियां और महिलाओं को गुलाम बना के बलात्कार करना जायज है) (सूरा 8, आयत 69)

 

अल्लाह ईमान वालों के द्वारा काफ़िरों को सताएगा। (सूरा 9, आयत 14)

 

काफ़िर युद्ध बंदियों को सताओ। (सूरा 8, आयत 57)

 

इस्लाम छोड़ने वालों से बदला लो। (सूरा 32, आयत 22)

 

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