वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर संसद की जॉइंट पार्लियामेंट्री कमेटी-
JPC ने आज ड्रॉफ्ट रिपोर्ट लोकसभा स्पीकर ओम बिरला
को सौंप दी। जेपीसी अध्यक्ष जगदंबिका पाल,
निशिकांत दुबे सहित अन्य भाजपा सांसदों ने ये
रिपोर्ट सौंपी है। विपक्ष का कोई सांसद इस दौरान नजर नहीं आया। JPC में सभी प्रमुख दलों के सांसद सदस्य बनाए गए थे। जेपीसी ने एक दिन पहले ही ड्रॉफ्ट रिपोर्ट को मंजूरी दी थी। 16 सदस्यों ने इसके पक्ष में वोट डाला। वहीं 11 सदस्यों ने विरोध किया था। कमेटी में शामिल
विपक्षी सांसदों ने इस बिल पर आपत्ति जताई है। AIMIM
चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, हमें 655
पन्नों की ड्रॉफ्ट रिपोर्ट मिली थी। 655 पन्नों की रिपोर्ट को एक रात में पढ़ना असंभव
था। मैंने असहमति जताई है और संसद में भी इस विधेयक का विरोध करूंगा।
वक्फ संशोधन विधेयक 2024 पर महत्वपूर्ण जेपीसी बैठक के समापन के बाद भाजपा सांसद तेजस्वी
सूर्या ने वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में पारदर्शिता और जवाबदेही का आह्वान किया
है। उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में आधुनिकता, पारदर्शिता और जवाबदेही लाना है। विधेयक का उद्देश्य भूमि पर अतिक्रमण
करने का प्रयास करने वाले निहित स्वार्थों द्वारा कानून के दुरुपयोग को रोकना है, जिससे देश में सामाजिक और सांप्रदायिक सद्भाव को खतरा हो। “वक्फ संशोधन विधेयक पर जेपीसी समाप्त हो गई है। सरकार का इरादा वक्फ
संपत्तियों के प्रबंधन में आधुनिकता, पारदर्शिता और जवाबदेही लाना
था और निहित स्वार्थों द्वारा कानून के दुरुपयोग को रोकना था जो देश में सामाजिक
और सांप्रदायिक सद्भाव की कीमत पर भूमि पर कब्जा करने की कोशिश कर रहे थे। ये
दोनों उद्देश्य पारित किए गए संशोधनों और जेपीसी द्वारा स्वीकार की गई रिपोर्ट से
पूरे हो गए हैं। अंतिम रिपोर्ट एक अच्छा दस्तावेज़ है जो वक्फ बोर्ड के कामकाज में
बहुत जरूरी जवाबदेही और पारदर्शिता लाकर मुस्लिम समुदाय को सशक्त बनाती है”।
वक्फ बोर्ड कानून
नए विधेयक और पुराने वक्फ कानून में अंतर
वक्फ बोर्ड वक्फ बोर्ड
पुराना
कानून
नया
बिल
1-सेक्शन
40 में रीजन टू बिलीव के तहत नए बिल के अनुसार जमीन पर दावा
अगर
वक्फ बोर्ड किसी प्रॉपर्टी पर दावा करने वाला ट्रिब्यूनल के अलावा
करता
है तो उस जमीन पर दावा करने रेवेन्यू कोर्ट, सिविल कोर्ट या
वाला
सिर्फ ट्रिब्यूनल में ही अपील कर हाईकोर्ट में अपील कर सकेगा।
सकता
है।
2- वक्फ ट्रिब्यूनल का फैसला आखिरी माना अब वक्फ ट्रिब्यूनल के फैसले के
जाता है। उसे चुनौती नहीं दी जा सकती। खिलाफ हाईकोर्ट में अपील की जा
सकेगी।
3- किसी जमीन पर मस्जिद हो या जब तक किसी ने वक्फ को दान में
उसका
उपयोग इस्लामिक उद्देश्यों के जमीन नहीं दी हो। उस पर भले ही
लिए
हो तो वो ऑटोमैटिक मस्जिद बनी हो पर वह
वक्फ
की संपत्ति हो जाती है। वक्फ की संपत्ति नहीं होगी।
4-वक्फ
बोर्ड में महिला और बतौर वक्फ बोर्ड में 2 महिलाओं और अन्य
सदस्य
अन्य धर्म के लोगों की धर्म के 2 सदस्यों को एंट्री मिलेगी।
एंट्री नहीं होगी।
विपक्ष
इस बिल का विरोध कर रहा है। कांग्रेस सांसद सैयद नसीर
हुसैन ने कहा का कहना है कि कई आपत्तियां और सुझाव दिए गए थे, लेकिन उन्हें रिपोर्ट में शामिल नहीं किया गया
है। वहीं JPC के सदस्य रहे डीएमके सांसद ए राजा ने कहा कि उनकी पार्टी इसके खिलाफ
सुप्रीम कोर्ट का रुख करेगी।
PC की 24 जनवरी को दिल्ली में हुई बैठक में विपक्षी सदस्यों ने हंगामा किया था।
उन्होंने दावा किया था कि उन्हें ड्राफ्ट में प्रस्तावित बदलावों पर रिसर्च के लिए
पर्याप्त समय नहीं दिया गया। आरोप लगाया कि BJP
दिल्ली चुनावों के कारण ध्यान में रखते हुए
वक्फ संशोधन विधेयक पर रिपोर्ट को संसद में जल्दी पेश करने पर जोर दे रही है।
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